जय गुरु देव
समय का जगाया हुआ नाम जयगुरुदेव मुसीबत में बोलने से जान माल की रक्षा होगी ।
परम सन्त बाबा उमाकान्त जी महाराज, उज्जैन (मध्य प्रदेश)
श्री रामचंद्र कृपालु भज मन (Shri Ramchandra Kripalu Bhajman Lyrics)

श्री रामचंद्र कृपालु भजमन लिरिक्स - Shri Ramchandra Kripalu Bhaj Man

श्री रामचंद्र कृपालु भजमन लिरिक्स
श्री राम श्री राम

श्री रामचंद्र कृपालु भजमन
हरण भवभय दारुणं
नव कंज लोचन कंज मुख
कर कंज पद कंजारुणं

श्री राम, श्री राम

कंदर्प अगणित अमित छवि
नव नील नीरद सुन्दरं
पटपीत मानहूँ तड़ित रूचि शुचि
नोमि जनक सुतावरं

श्री रामचंद्र कृपालु भजमन
हरण भवभय दारुणं
श्री राम, श्री राम

भज दीनबन्धु दिनेश दानव
दैत्य वंश निकन्दनं
रघुनंद आनंद कंद कोशल
चंद दशरथ नन्दनं

श्री रामचंद्र कृपालु भजमन
हरण भवभय दारुणं
श्री राम, श्री राम

शिर मुकुट कुण्डल तिलक
चारु उदारु अङ्ग विभूषणं
आजान भुज शर चाप धर
संग्राम जीत खरदूषणं

श्री रामचंद्र कृपालु भजमन
हरण भवभय दारुणं
श्री राम, श्री राम

इति वदति तुलसीदास शंकर
शेष मुनि मन रंजनं
मम हृदय कंज निवास कुरु
कामादि खलदल गंजनं

श्री रामचंद्र कृपालु भजमन
हरण भवभय दारुणं
नव कंज लोचन कंज मुख
कर कंज पद कंजारुणं
श्री राम, श्री राम